कोरा ज्ञान

बचपन में शायद हम सभी ने पंडित और मल्लाह की कहानी पढीं होगी जिसमें पंडित जी मल्लाह को पढा़ लिखा न होने का ताना देते हैं। पर मल्लाह बीच मजधार से पंडित जी की जान बचा कर अपना कौशल सिद्ध करता है|

कहीं अपनी शिक्षा व्यवस्था के साथ भी तो यहीं नहीं हो रहा है। हमारा ध्यान पंडित जी की तरह सिद्धांतिक शिक्षा पर है जबकि कौशल विकास पर बहुत कम ध्यान दिया जा रहा है। जब हम रोजगारोन्मुखी शिक्षा की बात करतें हैं तब हमारी शिक्षा काफी पीछे होती हैं। कौशल और क्षमता ही हमें रोजगार दे  सकती हैं। साथ ही उधामिता और नवोन्मेष पर भी सार्थक पहल कुशलता पर बात कर ही हो सकती हैं। कौशल विकास को शिक्षा का अभिन्न अंग बना कर  ही शिक्षा को सार्थक और बहुआयामी बनाया जा सकता हैं। वरना उपरोक्त प्रस्तुत कहानी से मिलने वाली सीख की तरह ही हमारी शिक्षा भी  मात्र कोरा ज्ञान ही रह जाएगीं। 
जितेन्द्र पटैल। 

Comments

  1. Today China is world manufacturer bcz it focused on skill but here we are just taught that learning English is the education. This post definitely will help youth to discover their potential and grow.

    ReplyDelete
    Replies
    1. Thanks a lot Amit Ji. Yes skills with knowledge is very important. I do think that NEP 2020 will help us in solving this old problem of Indian education system.

      Delete
  2. Sir, reality exhibited in its true sense

    ReplyDelete
    Replies
    1. Thanks a lot, Yes but now indian education system is changing and now emphasis on skill

      Delete
  3. Very nice ,
    1987से आज तक महिला बाल विकास में कार्य करते हुए अनुभव के आधार पर कह सकती हूं कि मोदी जी के आने के बाद कौशल विकास पर कार्य किया जा रहा है और क्षैत्र में उसके परिणाम भी दिखने लगे हैं, हाँ रफ्तार अभी कम है, पर लोग जागरूक होगें, आप जैसे शिक्षा विद् लोगों कि सोच बदलने का प्रयास जो कर रहे हैं, बधाई

    ReplyDelete
    Replies
    1. आपके उत्साहवर्धक शब्दों के लिए ध्यानवाद एक शिक्षक होने के नाते मुझे पूरा विश्वास है कि नई शिक्षा नीति हमरी विद्या पद्धति को बहुआयामी, कौशलविकस और नवाचार से परिपूर्ण बनाएगी 🙏🙏🙏

      Delete

Post a Comment

Popular posts from this blog

नव संचित नव निर्मित भारत

चंदा मामा पास के

आर्य सत्य