कैरियर विकल्प

आइए आज के लेख की शुरुआत प्रसिद्ध दार्शनिक ओशो की कहानी से करते हैं यह एक कुत्ते की कहानी है एक बार एक आदमी सर्कस के मैनेजर के पास एक छोटा कुत्ता लाता है वह कुत्ता बहुत ही अच्छा हारमोनियम बजाना शुरू कर देता है उसे देखकर सर्कस का मैनेजर चकित हो जाता है और कुत्ते के कौशल की काफी प्रशंसा करता है। तभी वहां एक बड़ा कुत्ता आकर छोटे कुत्ते को लेकर चला जाता है। मैनेजर जब उस आदमी से पूछता है कि यह कौन है तो वह बताता है कि यह उसकी मां है जो इस कुत्ते को डाक्टर बनाना चाहती है। यह कहानी एक अभिवावक के द्वारा अपने बच्चे से अपेक्षा को दर्शाती है। हाल ही में किए गए एक सर्वेक्षण में जब भारतीय अभिवावकों से उनके बच्चों के कैरियर विकल्पों के बारे में पूछा गया तब वह सिर्फ सात विकल्पों के साथ आए। नब्बे के दशक में सारे माता-पिता अपने बच्चों को डाक्टर या इंजीनियर बनना चाहते थे। एक शिक्षक, कैरियर काउन्सलर और एक पिता होने के नाते मुझे इस गंभीर मुद्दे पर चर्चा करनी चाहिए। भारतीय शिक्षा व्यवस्था शुरू से ही अपनी गुणवत्ता के लिए जानी जाती हैं और उसने कई युवाओं को अपने कैरियर के उच्च स्तर पर पदस्थ किया है।...